सुषमा स्वराज की जीवनी और राजनीतिक सफर

सुषमा स्वराज का जन्म 14 फरवरी 1952 को अंबाला छावनी, पंजाब में हुआ था। उन्होंने 6 अगस्त 2019 को नई दिल्ली में अपनी अंतिम सांस ली। सुषमा स्वराज को 7 बार संसद सदस्य और 3 बार विधानसभा सदस्य चुना गया। उन्होंने नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार के पहले कार्यकाल में विदेश मंत्री के रूप में कार्य किया है।

सुषमा स्वराज का व्यक्तिगत विवरण

जन्म तिथि और स्थान: 14 फरवरी 1952 अंबाला छावनी, पंजाब, भारत

निधन: 6 अगस्त 2019 (आयु 67 वर्ष) नई दिल्ली, दिल्ली, भारत

पति: स्वराज कौशल (सुप्रीम कोर्ट में वकील)

बच्चे: 1 बेटी (बंसुरी स्वराज)

राष्ट्रीयता: भारतीय

शिक्षा: बीए और एलएलबी (पंजाब विश्वविद्यालय, चंडीगढ़)

◆ सुषमा स्वराज ने 1970 के दशक में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के साथ अपने राजनीतिक जीवन की शुरुआत की। यद्यपि वह अपने पति के समाजवादी नेता जॉर्ज फर्नांडीस के साथ घनिष्ठ संबंध के कारण राजनीतिक दल में शामिल हो गईं और सुषमा स्वराज 1975 में जॉर्ज फर्नांडीस की कानूनी रक्षा टीम का हिस्सा बन गईं।

सुषमा स्वराज जी के परिवार के बारे में

◆ सुषमा जी का विवाह श्री स्वराज कौशल से हुआ है। उनके पति भारत के सर्वोच्च न्यायालय के वरिष्ठ वकील हैं। उन्होंने वर्ष 1990 से वर्ष 1993 तक मिजोरम के राज्यपाल के रूप में कार्य किया। वह 1998-2004 तक संसद के सदस्य रहे। सुषमा जी और स्वराज कौशल की एक बेटी है। उनकी बेटी ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी और बैरिस्टर लॉ में स्नातक हैं।

सुषमा स्वराज का राजनीतिक करियर

1. सुषमा स्वराज पेशे से एक वकील थी। स्वराज ने 1973 में भारत के सर्वोच्च न्यायालय में एक वकील के रूप में अभ्यास शुरू किया। सुषमा ने अपने करियर की शुरुआत 1970 के दशक में छात्र नेता के रूप में की थी।

2. वह हरियाणा विधानसभा के सदस्य के रूप में वर्ष 1977 – 82 और 1987 – 90 में नियुक्त हुईं।

3. वह 1977 से 1979 तक हरियाणा के श्रम और रोजगार विभाग में कैबिनेट मंत्री थी । और 1987 से 1990 तक हरियाणा में शिक्षा, खाद्य और नागरिक आपूर्ति विभाग में कैबिनेट मंत्री।

4. वह हरियाणा की लगातार तीन साल तक बेस्ट स्पीकर रहीं।

5. सुषमा जी 1990 में पहली बार राज्यसभा के सदस्य के रूप में चुनी गईं और 1996 में दक्षिण दिल्ली निर्वाचन क्षेत्र से 11 वीं लोकसभा के लिए निर्वाचित होने तक वहीं रहीं। कुल मिलाकर वह 7 बार संसद सदस्य चुनी गईं।

6. सुषमा वर्ष 1996 में केंद्रीय मंत्रिमंडल की सूचना और प्रसारण मंत्री थीं। वह वर्ष 1998 में दूसरी बार बारहवीं लोकसभा के लिए निर्वाचित हुई थीं। उनके पास 19 मार्च से 2 अक्टूबर, तक दूरसंचार मंत्रालय का पूरक प्रभार था।

7. सुषमा जी 26 मई 2014 से 30 मई 2019 तक विदेश मंत्री रहीं। विदेश मंत्री रहते हुए उनके कार्यों की लोगों नेेेेे बहुत प्रशंसा की। वह हमेशा सबकी मदद के लिए उपस्थिथित रहती थीं।

8. वह 13 अक्टूबर से 3 दिसंबर, 1998 तक दिल्ली की पहली महिला मुख्यमंत्री भी रहीं।

सुषमा जी की उपलब्धियाँ

सुषमा स्वराज जीवनी और राजनीतिक सफर

1. सुषमा स्वराज 4 साल तक राष्ट्रीय कार्यकारिणी – जनता पार्टी की सदस्य रहीं

2. वह हरियाणा में 4 साल तक जनता पार्टी की अध्यक्ष पद पर रहीं

3. वह 2 साल तक भाजपा की अखिल भारतीय सचिव रहीं

4. वर्ष 1977 में, वह हरियाणा की विधान सभा के लिए पहली बार चुनी गईं और उन्होंने हरियाणा में कैबिनेट मंत्री के रूप में शपथ ली।

5. वर्ष 1987 में, वह हरियाणा विधानसभा से फिर से चुनी गईं।

6. वर्ष 1990 में, उन्हें राज्य सभा के सदस्य के रूप में चुना गया।

7. वर्ष 1996 में, वह दूसरी बार ग्यारहवीं लोकसभा की सदस्य बनीं।

8. वर्ष 1998 में, तीसरी बार बारहवीं लोकसभा के सदस्य के रूप में चुना गया।

9. 13 अक्टूबर से 3 दिसंबर 1998 तक, वह दिल्ली की पहली महिला मुख्यमंत्री बनीं।

10.नवंबर 1998 में, उन्हें दिल्ली विधानसभा के हौज खास विधानसभा क्षेत्र से एक विधायक के रूप में चुना गया था, लेकिन उन्होंने लोकसभा सीट को बनाए रखने के लिए पद से इस्तीफा दे दिया।

11. 30 सितंबर, 2000 से 29 जनवरी, 2003 तक वह सूचना और प्रसारण मंत्री बनी रहीं।

12. 19 मार्च से 12 अक्टूबर, 1998 तक वह सूचना और प्रसारण और दूरसंचार क्षेत्र में केंद्रीय कैबिनेट मंत्री थीं।

13. 29 जनवरी, 2003 से 22 मई, 2004 तक, वह स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री और संसदीय कार्य मंत्री भी रहीं।

14. अप्रैल 2006 में उन्हें पांचवी बार राज्य सभा के सदस्य के रूप में फिर से चुना गया।

15. 16 मई, 2009 को उन्हें छठवीं बार 15 वीं लोकसभा के सदस्य के रूप में चुना गया।

16. वह 3 जून, 2009 को लोकसभा में विपक्ष की नेता बनीं।

17. 21 दिसंबर, 2009 को जब वह विपक्ष की पहली महिला नेता बनीं।

सुषमा स्वराज जी के प्रमुख रिकॉर्ड :-

1. 1977: सुषमा स्वराज 25 साल की उम्र में भारत की सबसे कम उम्र की कैबिनेट मंत्री बनीं।

2. 1979: सुषमा स्वराज 27 साल की उम्र में हरियाणा में जनता पार्टी की प्रदेश अध्यक्ष बनीं।

3. सुषमा स्वराज के पास राष्ट्रीय स्तर की राजनीतिक पार्टी की पहली महिला प्रवक्ता बनने का रिकॉर्ड है।

4. सुषमा स्वराज के पास1998 में दिल्ली की पहली महिला मुख्यमंत्री बनने का श्रेय है

5. सुषमा स्वराज पहली महिला केंद्रीय कैबिनेट मंत्री हैं

6. सुषमा स्वराज विपक्ष की पहली महिला नेता हैं

7. सुषमा जी को हरियाणा राज्य विधानसभा द्वारा सर्वश्रेष्ठ स्पीकर का पुरस्कार दिया गया

8. सुषमा जी को 2008 और 2010 में दो बार सर्वश्रेष्ठ सांसद का पुरस्कार दिया गया

निष्कर्ष :-

● स्वर्गीय सुषमा स्वराज एक महान वक्ता, एक विनम्र इंसान और एक महान भारतीय राजनीतिज्ञ थीं।

● इतनी उपलब्धियों के बावजूद उनमें घमंड नाम की कोई भी चीज नहीं थी।वह हमेशा दूसरों की मदद के लिए तत्पर रहती थी।

● उन्होंने हमेशा अपना काम पूरी ईमानदारी, मेहनत और लगन से किया।

● आने वाले सालों में उन्हें उनके उत्कृष्ट काम के लिए याद किया जाएगा। भगवान उसकी आत्मा को शांति प्रदान करे।

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